जालंधर में आयोजित श्रीमद् भागवत कथा के छठे दिन सुनाई कंस वध, कृष्ण-रुक्मिणी विवाह की कथा

कथा का शुभारंभ राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष विजय सांपला, दैनिक सवेरा के मुख्य संपादक शीतल विज, पूर्व विधायक के.डी भंडारी ने ज्योति प्रज्वलित कर किया

मेहनत से कमाया पैसा कभी व्यर्थ नही जाता : सुश्री जया किशोरी

” जो भी तेरे दर में आया वो अब तुम्हारा है ” भजन पर मंत्रमुग्ध हो झूम उठे श्रद्धालु

अखंड समाचार,जालंधर (आर भल्ला): आज के कलयुग में इंसान को हर चीज जल्दी चाहिए, चाहें सही हो या ग़लत, इंसान हर चीज को मशीन की तरह समझता है, क्योंकि इंसान ने अपना ग्रस्त जीवन ख़ुद ही चुना है, ग्रस्त जीवन बिताने के लिए मेहनत तो करनी पड़ेगी, अगर मेहनत नहीं करोगें, तो ग्रस्त जीवन बिगड़ जाएगा। मेहनत एवँ सोच समझ कर कमाए पैसे हमेशा सही काम में लगते है, गलत तरीक़े से या किसी को दोखा, बईमानी से कमाए पैसे ग़लत जगह ही लगतें है। हमें कभी किसा का हक्क या दिल नहीं दुखाना चाहिए। क्योंकि वक्त सभी का आता है, आज दुःख है तो कल सु:ख मिलेगा, घड़ी हमेशा चलती रहती है, कभी दिन होता है, कभी रात। मेहनत से कमाए पैसे व्यर्थ नहीं जाते। उक्त विचार विश्वप्रसिद्ध कथा वाचक जया किशोरी ने पटेल चौंक के नज़दीक साई स्कूल की ग्राउंड में हो रही सात दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा के दौरान कहे।

कथा का शुभारंभ राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष विजय सांपला, दैनिक सवेरा के मुख्य संपादक एवम श्री देवी तालाब मंदिर के प्रधान शीतल विज, पूर्व विधायक के.डी भंडारी ने ज्योति प्रज्वलित कर किया।

कथा में विशेष तौर पर संत समाज से आए दाना मंडी से महंत बंसी दास, टांडे से महंत मुरलीधर दास, हाजीपुर से महंत रघुवर दास, वाराणसी से महंत नारायण दास, वृंदावन से महंत राम बहादुर दास, हनुमंत घड़ी से महंत हरि राम महाराज, मोहल्ला गोविंदगढ़ से महंत दयमंती दास इत्यादि संत समाज ने शिरकत कर अपनी हाज़री लगाई।

इस अवसर पर श्रीमद् भागवत कथा में अंतर्राष्ट्रीय कथा वाचक जया किशोरी ने छठे दिन कंस वध और कृष्ण-रुक्मिणी के विवाह की कथा का वर्णन बताते कहा कि श्री कृष्ण के जीवन की महत्वपूर्ण घटनाओं में से एक घटना मामा कंस का वध भी है। भगवान श्रीकृष्ण का संपूर्ण जीवन लीलाओं से भरा हुआ है। श्रीकृष्ण का जन्म भी विकट परिस्थितियों में हुआ था। जिसकी वजह दुष्ट मामा कंस ही था। एक भविष्यवाणी की वजह से राजा कंस अपने ही भांजे श्रीकृष्ण को मारना चाहता था, इसके लिए उसने कई प्रयास भी किए, लेकिन आखिर में उसका अंत भगवान श्रीकृष्ण के हाथों ही हुआ। कथा में रुक्मणि विवाह की कथा सुनाकर श्रोताओं को मंत्र मुग्ध करते कहा कि रास का अर्थ आनन्द का समूह महारास कोई नर नारी का मिलन नही है, ये तो आत्मा और परमात्मा का मिलन हैं। आत्मा और परमात्मा जहां मिलते हैं, वही महारास है, उन्होंने भगवान श्रीकृष्ण और रुक्मणि की कथा पर भी प्रकाश डाला।

इस दौरान रुक्मणि विवाह की जीवंत झांकी सजाई गई व संगीतमई ” जो भी तेरे दर में आया वो अब तुम्हारा है, राधे राधे गोविंद राधे के भजनो पर मंत्र मुग्ध हुए श्रद्धालु खूब झूमे।

इस अवसर पर विधायक रमन अरोड़ा,डीसीपी जगमोहन सिंह, राजू मदान, महेश मखीजा, राहुल बाहरी, राजू अरुण आनंद, विनोद शर्मा, शिवम मखीजा, अमित संघा, वनीत धीर, राज अरोड़ा, दविंदर वर्मा, पूर्व पार्षद अरुणा अरोड़ा, गीता अरोड़ा, बिट्टू, दीपक कुमार, राज कुमार अरोड़ा, राधा मदान, साक्षी अरोड़ा, ऊर्जा मदान, शाम शर्मा, अरोड़ा, बॉबी मखीजा, दीपिका सोनू बजाज, मनीष बजाज, गौरव, ममता मखीजा, रमेश अरोड़ा, राकेश अरोड़ा इत्यादि उपस्थित थे।

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