एजेंसियां — इम्फाल : मणिपुर में महीनों से जारी हिंसा का तांडव थमने का नाम नहीं ले रहा है। प्रदर्शनकारी अब सुरक्षाबलों द्वारा लगाए गए कफ्र्यू को भी नहीं मान रहे हैं। बिष्णुपुर जिला में बुधवार को कफ्र्यू के बावजूद हजारों मैतेई प्रदर्शनकारियों ने मार्च निकाला। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने मणिपुर में दो तनावग्रस्त जिलों के बीच सुरक्षाबलों द्वारा लगाए गए बैरिकेड्स को हटा दिया। इसके बाद पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़प हुई। सुरक्षाबलों को आंसू गैस और रबर बुलेट चलानी पड़ीं। कई लोग घायल हो गए और उन्हें अस्पताल ले जाया गया। मैतेई नागरिक समाज समूहों की प्रमुख संस्था, समन्वय समिति के आह्वान के बाद, प्रदर्शनकारी मणिपुर के मैतेई-बहुल घाटी क्षेत्र में कफ्र्यू का उल्लंघन करते हुए बाहर आए।
बता दें कि मणिपुर के पांचों घाटी जिलों में एहतियाती उपाय के तौर पर मंगलवार शाम से एक बार फिर पूर्ण कफ्र्यू लगा दिया गया था। अधिकारियों ने बताया कि चूराचांदपुर से कुछ किलोमीटर दूर बिष्णुपुर जिले के फौगाकचाओ इखाई में कोऑर्डिनेटिंग कमेटी ऑन मणिपुर इंटिग्रिटी और उसकी महिला इकाई द्वारा बुधवार को सभी घाटी जिलों के लोगों से सेना के एक बैरिकेड को हटाने के आह्वान के मद्देनजर बिष्णुपुर, काकचिंग, थौबल, इम्फाल वेस्ट और इंफाल ईस्ट में कफ्र्यू के घंटों में दी गई ढील समाप्त कर दी गई है।