श्रीमद् भागवत कथा सुनने से मनुष्य के जीवन से अहंकार का होता है नाश : जया किशोरी
नंद के आनन्द भयो, जय कन्हैया लाल की जय आदि भजनों से झूम उठे भक्तजन, भक्तों के झूमने पर पंडाल का दृश्य देखने योग्य
अखंड समाचार, जालंधर (आर भल्ला) : श्री कष्ट निवारण बालाजी सेवा परिवार द्वारा पटेल चौंक स्थित साई दास स्कूल की ग्राउंड में आयोजित सात दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा विधायक रमन अरोड़ा की अध्यक्षता में बड़ी धूमधाम से करवाई जा रहीं है। जिसमें अंतर्राष्ट्रीय कथा वाचक जया किशोरी ने चतुर्थ दिन धर्म की कथा, समुद्र मंथन, वामन अवतार, श्री राम जन्म व श्री कृष्ण जन्म की कथा का वर्णन भगतों को बताया। कथा का शुभारंभ ज्योति प्रवलित करके किया गया। इस मौके पर वाणी विज, डीसीपी जगमोहन सिंह, पेमा के प्रधान सुरिंदर पाल मुख्य तौर पर उपस्थित हुए।
श्रीमद् भागवत कथा के चौथे दिन उमड़ा भक्तों का जनसलाब पंडाल पूरी तरह से भरा हुआ था।
इस दौरान अंतरराष्ट्रीय कथा वाचक जया किशोरी ने अपनी मधुर वाणी से कहा कि परमात्मा ही परम सत्य है। जब हमारी वृत्ति परमात्मा में लगेगी तो संसार गायब हो जाएगा। भगवान संसार से जुड़े भी हैं और अलग भी हैं। आकाश में बादल रहता है। और बादल के अंदर भी आकाश तत्व है। बादल के गायब होने पर भी आकाश गायब नहीं होता। इसी तरह संसार गायब होने पर भी परमात्मा गायब नहीं होते। संसार की कोई भी वस्तु भगवान से अलग नहीं है। भागवत कथा सुनने से अहंकार का नाश होता है। कथा में राम जन्म एवं कृष्ण जन्म की कथा सुनाते हुए कहा कि कलयुग में भागवत की कथा सुनने से मात्र हर प्राणी को मोक्ष की प्राप्ति होती है। साथ ही सभी जन्मों के पापों का नाश होता है।
राम जन्म एवं कृष्ण जन्म व बाल लीलाओं का वर्णन करते हुए कहा कि 84 लाख योनियों में भटकने के पश्चात मानव शरीर की प्राप्ति होती है। जब-जब अत्याचार और अन्याय बढ़ता है। तब-तब प्रभु का अवतार होता है। प्रभु का अवतार अत्याचार को समाप्त करने और धर्म की स्थापना के लिए होता है। जब रावण का अत्याचार बढ़ा, तब श्रीराम का जन्म हुआ। जब कंस ने सारी मर्यादाऐं तोड़ी तो प्रभु श्री कृष्ण का जन्म हुआ। और कहा कि भागवत कथा एक ऐसी कथा है, जिसे ग्रहण करने सेे मात्र मन को शांति मिलती है। भागवत कथा सुनने से अहंकार का नाश होता है।
कथा के अंत में नन्हें गोपाल श्री कृष्ण के जन्म पर श्रद्धालुओं में खुशी का माहौल बन गया। छोटे छोटे नन्हे बच्चों ने श्री कृष्ण का रूप धारण किए हुए थे। कथा वाचक जया किशोरी द्वारा नंद के आंनद भयो, जय कन्हैया लाल की, हाथी घोड़ा पालकी जय कन्हैया लाल की , छोटी छोटी गईआं छोटे छोटे ग्वाल छोटू से मेरो मदन गोपाल आदि भजनों ने पंडाल में बैठे सभी श्रद्धालुयों को झूमने पर विवश कर दिया ।
इस अवसर पर पूर्णिमा बेरी, वाणी विज, महेश मखीजा, राहुल बाहरी, राजू मखीजा, राजू मदान, दविंदर वर्मा, अरुण आनंद, नंद बाबा, विनोद शर्मा, शिवम मखीजा, गीता अरोड़ा, राधा मदान, साक्षी अरोड़ा, शिक्षा बाहरी, ममता मखीजा, रमेश कुमार, बाँबी मखीजा, दीपिका अरोड़ा, दीपक कुमार, रामेश अरोड़ा, अरोड़ा, ऊर्जा मदान, शाम शर्मा, सोनू बजाज, मनीष बजाज, गौरव कुमार, साहिल मदान इत्यादि अन्य भगत उपस्थित थे।